द्वारकापीठ के शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती का रविवार को निधन हो गया है. ज्योतिष और द्वारका-शारदा पीठ के शंकाराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती ने मध्य प्रदेश के नरसिंहपुर में स्थित परमहंसी गंगा आश्रम में 99 साल की उम्र में अंतिम सांस ली. स्वतंत्रता संग्राम में भाग लेकर वे जेल भी गए और अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए लंबी कानूनी लड़ाई भी लड़ी, द्वारकापीठ के शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती का रविवार को निधन हो गया है. ज्योतिष और द्वारका-शारदा पीठ के शंकाराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती ने मध्य प्रदेश के नरसिंहपुर में स्थित परमहंसी गंगा आश्रम में 99 साल की उम्र में अंतिम सांस ली. वे पिछले काफी दिनों से बीमार चल रहे थे.
उन्होंने मध्य प्रदेश के नरसिंहपुर में आखिरी सांस ली. स्वरूपानंद सरस्वती को हिंदुओं का सबसे बड़ा धर्मगुरु माना जाता रहा है.
जबलपुर के डॉ. पारिजात और डॉ. नचिकेत पांसे शिविर में देखेंगे मरीज़ों को
विश्व फिजियोथेरेपी दिवस हर साल 8 सितंबर को मनाया जाता है। फिजियोथेरेपी लोगों को शारीरिक तौर पर अच्छी तरह से रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। 8 सितम्बर को इसे विशेष तौर पर इसलिए मनाया जाता है ताकि फिजियोथेरेपी के बारे में अधिक से अधिक जागरूकता पैदा की जा सके। इस दिन चिकित्सा क्षेत्र में उनके योगदान के लिए दुनिया भर के फिजियोथेरेपिस्ट को धन्यवाद किया जाता है। वर्ल्ड फिजियोथेरेपी डे के उपलक्ष्य में हमने शहडोल के जाने माने फिजियोथैरेपिस्ट डॉ. रोशन शर्मा से बात की जो दक्ष फिजियोथैरेपी एंड रिहैबिलिटेशन सेंटर के संचालक हैं और अब तक संकड़ों मरीज़ों को उनकी अस्थाई शारीरिक अक्षमताओं से छुटकारा दिला चुके हैं। डॉ शर्मा ने बताया कि साल 1996 में 8 सितम्बर को वर्ल्ड कॉन्फेडरेशन ऑफ फिजिकल थेरेपी रूप में नामित किया गया। तब से इसे को वर्ल्ड फिजिकल थेरेपी दिवस के रूप में मनाया जा रहा है। इसको मान्यता 1951 में WCPT द्वारा दी गई। यह दिन वैश्विक भौतिक चिकित्सा समुदाय की एकता और एकजुटता को दर्शाता है। यह दिन फिजियोथेरेपिस्ट के काम को पहचानने और उन्हें सहराने के लिए मनाया जाता है। इस दिन इनके पेशे को बढ़ावा देने और उनकी विशेषज्ञता को आगे बढ़ाने पर ज़ोर दिया गया है।
दक्ष फिजियोथैरेपी एंड रिहैबिलिटेशन सेंटर में डॉक्टर शर्मा उपचार करते हुए
मरीज़ों से निःशुल्क शिविर का लाभ लेने की अपील – डॉ शर्मा ने यह भी जानकारी दी कि 11 सितंबर को सर्किट हाउस के सामने, रीवा रोड के सामने स्थित उनके दक्ष फिजियोथैरेपी एन्ड रिहैबिलिटेशन सेंटर द्वारा शहडोल में निशुल्क चिकित्सा शिविर का आयोजन किया गया इस शिविर में मरीज जबलपुर के प्रसिद्ध डॉक्टर नचिकेत पांसे, डॉ परिजात पांसे और डॉ ऋषि मुनि शर्मा के साथ वे स्वयं अपनी सेवाएं देंगें। इसलिए अधिक से अधिक लोगों से इसका लाभ लेने की अपील की है।
विशेषज्ञों द्वारा मिलेगा परामर्श और इलाज – शिविर में सांस, निद्रा, हड्डी रोग एवं कोविड के बाद हो रही परेशानियों के सम्बन्ध में द्वारा मरीजों को विशेषज्ञों द्वारा निशुल्क परामर्श दिया जायेगा।
दक्ष फीजियोथेरेपी एवं रिहैबिलिटेशन सेंटर के डॉ रोशन शर्मा ने बताया कि ऐसे मरीज जो दर्द, झुनझुनी, हड्डियों या जोड़ो में किसी भी प्रकार की तकतीफ, नसों की तकलीफ,नसों का दबना, रीढ़ की हड्डियों में समस्या और फेफड़ो की समस्या, दमा, टी.बी, नींद की समस्या , कोविड के बाद तकलीफ एवं लकवा, सर्वाइकल, आदि से पीड़त है उन्हें निशुल्क चिकित्सा परामर्श दिया जाएगा।
मरीज़ों को असुविधा न हो इसलिए उन्हें मोबाइल पर पहले ही रजिस्ट्रेशन करने की सुविधा दी जा रही है। मरीज़ रजिस्ट्रेशन के लिए मोबाइल नंबर 9340740249 एवं 9713972655 पर सम्पर्क कर सकते हैं।
सिद्ध बाबा निवासी आशिक उर्फ रितिक वंशकार और अंशु अपने पिता शाहरुख वंशकार के साथ मिलकर खड़े ट्रकों को बनाते थे निशाना
दरअसल हाईवे में खड़े हुए ट्रकों डीजल चोरी की दो घटनाएं विगत दिनों पंजीबद्ध हुई जिसमें एक ट्रक में 200 लीटर डीजल चोरी की घटना हुई वहीं दूसरे ट्रक में 300 लीटर डीजल चुराया गया दोनों घटनाओं की रिपोर्ट दर्ज कराते हुए ट्रक ड्राइवरों ने बताया की एक इनोवा कार उनके ट्रक के पास खड़ी थी एवं तीन व्यक्तियों के द्वारा केन में डीजल चुराया जा रहा था, जिसके बाद पुलिस ने तफ्तीश करते हुए दो अपराधियों को धर दबोचा एवं एक अपराधी अभी फरार हैं
थाना बरगी में 25-8-22 की दोपहर लगभग 1 बजे आनंदी लाल अहिरवार उम्र 33 वर्ष निवासी गोरखपुर थाना भगुवा जिला छतरपुर ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि वह परमीत आनंद जबलपुर का ट्राला चलाता है 20-8-22 की उसके द्वारा सेठ के ट्राला क्रमांक एम एच 25 यू 1097 में लोहे एंव गिट्टी केा माईंस गोसलपुर से नागपुर वर्धा ले जाने के लिये भरा गया एवं उसके द्वारा डीजल टेंक फुल किया गया था दिनाँक 20-8-22 को रात लभग 8 बजे वर्धा नागपुर ट्राला के लिये ट्राला से निकला था रात लगभग 11 बजे उसका ट्राला चूल्हा गोलाई के आगे मण्डला नागपुर तिराहा पर फस गया और ट्राला दिनांक 22-8-22 तक फसा रहा वह अपने ट्राला के पास ही रहा दिनांक 22-8-22 को रात लगभग 1-30 बजे वह ट्राला में मोबाइल चला रहा था तभी आवाज आने पर देखा कि उसके ट्राले के आगे एक इनोवा गाड़ी क्रमांक एमपी 20 सीए 4077 खडी थी एवं 2 व्यक्ति उसके ट्राला में से डीजल पाईप से कुप्पे में निकाल रहे थे एवं एक व्यक्ति आसपास जाने वाले लोगों पर नजर रखे हुये था जेैसे ही उसने कहा कि मेरी गाड़ी से डीजल क्यों निकाल रहे हो तो तीनों उसके ट्राले के आगे खड़ी इनोवा कार में डीजल भरे कुप्पे रखे और भाग गये उसके ट्राला से लगभग 200 लीटल डीजल कीमती लगभग 20 हजार रूपये का चोरी हो गया है।
इसी प्रकार थाना बरगी में 25 अगस्त 2022 की दोपहर लगभग 1-15 बजे कमलेश राय उम्र 50 वर्ष निवासी ग्राम परासिया जिला छिंदवाड़ा ने रिपोर्ट दर्ज कराई कि वह महफुज खान निवासी परासिया छिंदवाड़ा का ट्राला चलाता है दिनाँक 24-8-22 को उसके द्वारा सेठ के ट्राला क्रमांक यूपी 70 केटी 4375 में कोयला परासिया से मैहर एमपी बिरला सिमेंट के लिये भरकर जा रहा था, दिनाँक 24-8-22 को रात लगभग 9 बजे परासिया से निकला एंव रात लगभग 3 बजे वह प्रभू ढाबा रमनपुर के पास पहुँचा और ढाबे पर गाड़ी लगाकर चौकीदार को बताकर गाड़ी में सो गया था रात लगभग 3-30 बजे उसकी गाड़ी से आवाज आने पर देखा की उसके ट्राला के पास एक इनोवा गाड़ी क्रमांक एमपी 20 सीए 4077 खडी थी एवं 2 व्यक्ति उसके ट्राला से डीजल पाईप के द्वारा कुप्पे में निकाल रहे थे, कमलेश राय के ट्रक से कुल 300 लीटर डीजल चोरी हो गया , इस घटना में भी इनोवा कार में उसी प्रकार तीन लोगों ने घटना को अंजाम दिया था । पुलिस दोनो मामलों में धारा 379, 34 भादवि का अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना मे लिया।
जांच के दौरान इनोवा क्रमांक एमपी 20 सीए 4077 तिन्सी ब्रिज एन.एच. 34 पर देखे जाने की सूचना पर दबिश दी गयी जहां एक इनोवा गाड़ी तिन्सी ब्रिज के पास खड़े ट्रक के आसपास चक्कर काट रही थी, पुलिस को देखकर इनोवा का चालक तेजी से वाहन चलाकर भागने लगा जिसका पीछा किया, लगभग 1 कि.मी. दूरी पर इनोवा गाड़ी रूकी और उसमे से दो व्यक्ति उतरकर जंगल की और भागे, इनोवा के चालक को घेराबंदी कर पकड़ा गया एवं जंगल की और भगे दो व्यक्ति का पीछा किया गया जो जंगल का लाभ उठाकर भागने मे सफल हो गये। इनोवा चालक से नाम पता पूछने पर अपना नाम आशीक उर्फ रितीक वंशकार उम्र 22 वर्ष निवासी सिध्दबाबा कस्तुरबा नगर थाना घमापुर बताया भागने वालों के सम्बंध में पूछताछ करने पर इनोवा से उतर कर भागने वाले को पिता शाहरूख उर्फ महेश वंशकार उम्र 41 वर्ष एवं भाई अंशु वंशकार उम्र 19 का होना बताया । इनोवा वाहन को चैक किया जिसमे 01 केन 50 लीटर की जिसमे लगभग 10 लीटर डीजल एवं 01 प्लास्टिक का पाईप 02 मीटर का रखा मिला, वाहन के दस्तावेज के संबंध मे पूछने पर वाहन पिता शाहरूख उर्फ महेश वंशकार का होना बताया डीजल के संबंध मे दस्तावेज पूछे गये जो कोई दस्तावेज होना नही बताया। इनोवा वाहन चालक को थाने लाकर सघन पूछताछ करने पर अपने पिता शाहरूख उर्फ महेश वंशकार एवं भाई अंशु वंशकार के साथ मिलकर ट्रको से डीजल चोरी करना स्वीकार किया एवं चोरी किये हुये डीजल को आते-जाते गाड़ी वालों को बेचना बताया। आरोपी से इनोवा कार एवं कार में रखा 1 केन जिसमें 10 लीटर डीजल है जप्त करते हुये, दिनांक 06.09.2022 को फरार आरेापियेां तलाश हेतु शाहरूख उर्फ महेश वंशकार के घर में दबिश दी जहॉ एक युवक पुलिस को देखकर भागने का प्रयास किया जिसे घेराबंदी कर पकड़ा गया जिसने नाम पता पूछने पर अपना नाम अंशु वंशकार पिता शाहरूख वंशकार बताया जो अपने घर में डीजल के 2 खाली केन रखे मिला जिसे भी जप्त किया गया।
आशिक उर्फ रितिक वंशकार एवं अंशु वंशकार दोनों ने दिनांक 22/08/2022 को एन.एच 34 नागपुर मण्डला तिराहा पर फसे ट्रक से 200 लीटर डीजल एवं दिनांक 25/08/2022 को प्रभु ढाबा रमनपुर एन.एच 34 से 300 लीटर डीजल चोरी करना स्वीकार किया। दोनों आरोपियों को प्रकरण में विधिवत गिरफ्तार कर फरार पिता शाहरूख उर्फ महेश वंशकार की तलाश जारी है।
खड़े वाहनों से डीजल चुराने वाले आरोपियेां को गिरफ्तार करने मे थाना प्रभारी बरगी श्री रीतेश पाण्डे, उप निरीक्षक धर्मेन्द्र राजपूत, आरक्षक रवि शर्मा, अजय शर्मा की सराहनीय भूमिका रही।
नरसिंहपुर – भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा नरसिंहपुर के जिला अध्यक्ष मोहर कांत गुर्जर के चचेरे भाई और खुद को वरिष्ठ भाजपा नेता बताने वाले शशिकांत गुर्जर का प्रदर्शन कर रहे लोगों को भद्दी गालियां देते हुए एक वीडियो वायरल हुआ था जिसपर पर अब नेताजी सफाई देते हुए कह रहे है प्रदर्शन में कुछ असामाजिक तत्व थे और वह अपने भतीजों को गाली दे रहे थे वैसे नेताजी ने यह नही बताया कि प्रदर्शन में असामाजिक तत्वों से परेशनी थी तो भतीजों को क्यो गालियाँ दी या उनके भतीजे ही असामाजिक तत्व थे ये तो नेताजी ही जानें ।
प्राप्त जानकारी के अनुसार नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा क्षेत्र का जहां कुछ लोग सड़क की समस्या को लेकर धरना परदर्शन कर रहे थे और इस प्रदर्शन में क्षेत्र की ही विधायक सुनीता पटेल अपनी कुछ महिला साथियों के साथ मौजूद थीं जहां अपनी नेतागिरी चमकाने की चाह में शशिकांत गुर्जर भी पहुंच गए और सड़क बनाने का आश्वासन देते देते एकाएक शशिकांत किसी बात पर अपना आपा खो बैठे और वहां मौजूद लोगों को भद्दी-भद्दी गालियां देने लगे जिससे प्रर्दशन स्थल पर महिलाएं भी असहज हो गई जिसके वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो गया ।
शशिकांत गुर्जर वैसे तो भाजपा में किसी पद पर नहीं है लेकिन वह नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा क्षेत्र में भाजपा के सक्रिय नेता माने जाते हैं और उनका नाम भी भाजपा के बड़े नेताओं में शुमार है।
देखिये नेताजी का शर्मशार करने वाला वीडियो और उसके बाद स्पष्टीकरण
मध्य प्रदेश के महालेखाकार की 36 पेज की गोपनीय रिपोर्ट सार्वजनिक होने के बाद से मुख्यमंत्री शिवराज घोटालों के आरोप से घिर गये हैं। रिपोर्ट को आधार बनाते हुए उनसे पूछा जा रहा है कि करोड़ों की कीमत का पोषण आहार मोटरसायकिल पर कैसे ढोया गया? जिन बच्चियों ने स्कूल छोड़ दिया है उन्हें लाखों का पोषण आहार कैसे बाँट दिया गया? यहीं नहीं राशन निर्माण यूनिट्स में क्षमता से अधिक उत्पादन कर 58 करोड़ का गबन भी किया गया। ये आरोप पूर्व मंत्री एवं विधायक तरूण भानोट ने पत्रकार वार्ता कर लगाए ।
व्यापमं घोटाला, डंपर घोटाला, ई-टेंडर घोटाला के बाद अब प्रदेश में पोषण आहार परिवहन घोटाला सामने आया है। दरअसल मध्यप्रदेश के महालेखाकार ने 36 पर्न्नों की मीडिया में प्रकाशित एक गोपनीय रिपोर्ट में महिला बाल विकास विभाग में हुआ यह घोटाला उजागर किया है। रिपोर्ट के मुताबिक विभाग ने 2021 तक 4.05 मीट्रिक टन टेक होम राशन का वितरण किया और 1.35 करोड़ लाभार्थियों पर 2393.21 करोड रुपए खर्च किए। रिपोर्ट में स्पष्ट बताया गया है कि जिन ट्रकों से राशन ट्रांसपोर्ट करने का दावा किया गया है, वे ट्रक थे ही नहीं और उनके नंबर मोटरसाइकिल, कार ऑटो रिक्शा और दूसरे छोटे वाहनों के निकले। इनमें से कोई नंबर ट्रक का पाया ही नहीं गया। इसी तरह बाडी, धार, मंडला, रीवा, सागर और शिवपुरी के छह प्लांढों ने बड़े पैमाने पर राशन की सप्लाई दर्शाई गई, जबकि जांच में पता चला कि इन प्लांट में राशन का स्टॉक ही नहीं था। कांग्रेस पार्टी ने इस विषय में प्रेसवार्ता आयोजित कर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से पूछा है कि क्या मुख्यमंत्री और घोटालों का चोली-दामन का साथ है? क्यों हर बार मुख्यमंत्री के विभाग में ही घोटाला होता है? इस घोटाले की जिम्मेदारी लेते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान इस्तीफे की मांग की गई,
महालेखाकार ने अपनी रिपोर्ट में स्पष्ट कहा है की लाभार्थियों की पहचान, राशन के उत्पादन, परिवहन, वितरण और राशन की गुणवत्ता में बड़े पैमाने पर घोटाला और अनियमितता हुई है। इसलिए मध्य प्रदेश सरकार को एक स्वतंत्र एजेंसी से पूरे घोटाले की जांच करानी चाहिए और हर स्तर के अधिकारियों की जिम्मेदारी सुनिश्चित करनी चाहिए। रिपोर्ट में कहा गया है कि जिन जिलों की जांच कर ली गई है उनके अलावा बाकी जिलों में भी इस बात की जांच की जानी चाहिए कि वहां घोटाला चल रहा है या नहीं। रिपोर्ट में इस तरह के घोटाले रोकने के लिए राशन वितरण प्रणाली के निगरानी के लिए कंप्यूटराइज्ड सिस्टम बनाने की सिफारिश की गई है। इस रिपोर्ट में सामने आया है कि करोड़ों का कई किलों वजनी पोषण आहार का परिवहन मोटर साईकिल और ऑटो रिक्शा के द्वारा करना दिखाया गया है। वहीं यह भी पता चला है कि लाखों ऐसे बच्चे जो स्कूल नहीं जाते उनके नाम पर भी करोड़ों रूपयों का राशन बांट दिया गया। स्कूल शिक्षा विभाग ने शाला त्यागी” बालिकाओं की संख्या 9 हजार बतायी है, जबकि रिपोर्ट के अनुसार महिला बाल विकास विभाग ने 36 हजार शाला त्यागी” बालिकाओं तक पोषण आहार पहुंचाया है। जिसमें स्पष्ट तौर पर घोटाला दिखायी देता है। मध्यप्रदेश के महालेखाकार की रिपोर्ट के मुताबिक 2021 के लिए टेक होम राशन योजना के लगभग 24 प्रतिशत लाभार्थियों की जांच पर आधारित थे, इस योजना के तहत 49.58 लाख पंजीकृत बच्चों और महिलाओं को पोषण आहार दिया जाना था, इनमें 6 महीने से 3 साल की उम्र के 34.69 लाख बच्चे, 4.25 लाख गर्भवती महिलाएं और स्तनपान कराने वाली मां और 11- 14 साल की लगभग 64 हजार बच्चियां शामिल थीं, जिन्होंने किसी कारणवश स्कूल छोड़ दिया है। इस रिपोर्ट में श्रष्टचार के सीधे प्रमाण मौजूद है। रिपोर्ट कहती है कि जिन ट्रकों से इन संयंत्रों से पोषण आहार को गंतव्य स्थल तक पहुंचाने का जिक्र महिला बाल विकास विभाग ने किया है महालेखाकार कार्यालय द्वारा सत्यापन करने पर उनके वाहन नंबर दो पहिया वाहनों के निकले हैं। हमारा स्पष्ट मानना है कि करोड़ों रू.का कई किलो वजनी पोषण आहार का परिवहन मोटर साईकिल से किया जाना संभव नहीं है। विधानसभा में कांग्रेस विधायक सज्जन सिंह वर्मा के प्रश्न के जबाव में सरकार ने कहा कि कोरोना काल में पोषण आहार का घर-घर वितरण किया गया। इस संबंध में जब वर्तमान नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह ने अपने गृह जिले भिंड में मौका मुआयना किया तो पता चला कि किसी को टेक होम राशन नहीं मिला।
रिपोर्ट की जांच के दौरान पता चला कि प्रदेश के जिन छह संयंत्रों (बाड़ी, धार,मंडला, रीवा, सागर और शिवपुरी) से ‘टेक होम राशन” की सप्लाई की बात कही गई है, उन दिनों इन संयंत्रों से दशाये गयी मात्रा में पोषण आहार (Take home Ration) का उत्पादन नहीं किया गया। रिपोर्ट के अनुसार राशन निर्माण संयंत्रों ने निर्धारित और अनुमानित क्षमता से अधिक उत्पादन की जानकारी दी है जब कच्चे माल और बिजली की खपत की तुलना वास्तविक राशन उत्पादन से की गई तो पाया गया कि इसमें 58 करोड़ रू. की हैराफेरी की गई। रिपोर्ट में कहा गया 237 करोड़ का ऐसा राशन सप्लाई किया गया जो पोषक नहीं था। इसका मतलब है कि लाखों लोगों को घटिया राशन सप्लाई कर दिया । यह घोटाला सामने आने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर आरोप लगाते हुए कांग्रेस ने कहा उन्हें अपने पद पर बने रहने का कोई अधिकार नहीं है। मुख्यमंत्री को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए और मामले की स्वतंत्र जांच की भी मांग की है । क्योंकि अगर मुख्यमंत्री अपने पद पर बने रहेंगे तो किसी भी एजेंसी के लिए स्वतंत्र जांच करना आसान नहीं होगा।
डिण्डौरी -25 जनवरी 2018 को दोपहर लगभग 11:15 बजे समनापुर में 18 वर्ष से कम की नाबालिग बालिका के साथ घटित अपराध के बाद थाना समनापुर में अपराध पंजीबद्ध किया गया था । अभियोजन के मीडिया सेल प्रभारी श्री मनोज कुमार वर्मा ने बताया गया कि 25 जनवरी 2018 को दोपहर लगभग 11:15 बजे समनापुर में 18 वर्ष से कम की नाबालिग बालिका को उसकी सहमति के बिना अपने साथ ले जाकर घर में जबरदस्ती दुष्कर्म करने एवं पीड़ित के साथ ली हुई फोटो को वायरल करने की धमकी देकर पैसे लेने तथा जान से मारने की धमकी देने के मामले में कार्रवाई करते हुए थाना समनापुर द्वारा अपराध पंजीबद्ध कर चालान न्यायालय में प्रस्तुत किया गया ।
उक्त मामले की सुनवाई करते हुए विशेष न्यायाधीश,लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम (पॉक्सो एक्ट) डिण्डौरी द्वारा आरोपी सत्यप्रकाश उर्फ सत्तू पनरिया पिता जोधीदास उम्र 22 वर्ष निवासी आवास कॉलोनी समनापुर जिला डिण्डौरी को धारा 376(2)(झ), भादवि के अपराध के लिए आजीवन कारावास एवं 1000/- रूपये का अर्थदण्ड, धारा 354(घ)(1)(i), 354(घ)(2) भादवि एवं 11(iv)/12 लैंगिक अपराधो से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 के अपराध के लिए 03 वर्ष कठोर कारावास एवं 500/- रूपये का अर्थदण्ड, धारा 506 भाग-2 भादंवि के अपराध के लिए 01 वर्ष कठोर कारावास एवं 200/- रूपये का अर्थदण्ड एवं धारा 384 भादवि के अपराध के लिए 01 वर्ष कठोर कारावास एवं 200/- रूपये का अर्थदण्ड से दण्डित किया । अर्थदण्ड की राशि अदा न करने पर क्रमश: 06 माह, 03 माह, 01 माह, 01 माह अतिरिक्त कठोर कारावास भुगताये जाने के आदेश पारित किया गया । शासन की ओर से श्री अब्दुल नसीम,विशेष लोक अभियोजक पाक्सो एक्ट द्वारा मामले का सशक्त संचालन किया गया ।
अनुबंधित वाहनों के बकाया बिलों के भुगतान के लिए रिश्वत की मांग
मंगलवार दोपहर राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में जिला लेखा प्रबंधक (डेम) पद पर संविदा सेवाएं दे रही श्रद्धा ताम्रकार को 80 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए लोकायुक्त ने रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। विक्टोरिया अस्पताल परिसर स्थित कार्यालय में की गई कार्रवाई,
जानकारी के मुताबिक श्रद्धा ताम्रकार राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में जिला लेखा प्रबंधक (डेम) पद पर संविदा सेवाएं दे रही हैं। मिश्रा ट्रेवल्स के संचालक ने विगत दिवस लोकायुक्त एसपी को संजय साहू से श्रद्धा ताम्रकार के खिलाफ रिश्वतखोरी की शिकायत की थी। मिश्रा ट्रेवल्स के कई वाहन स्वास्थ्य विभाग और एनएचएम में अनुबंधित हैं। अनुबंधित वाहनों के बकाया बिलों के भुगतान के लिए श्रद्धा ने ट्रेवल्स संचालक से रिश्वत की मांग की थी। इस रिश्वतखोरी की शिकायत मिलने पर एसपी लोकायुक्त ने टीम का गठन करते हुए श्रद्धा को रंगे हाथ गिरफ्तार करने के निर्देश दिए थे।
जबलपुर – अपराधी कितना भी शातिर क्यों ना हो कोई ना कोई सुराग छोड़ ही देता है, ऐसा ही मामला सामने आया जब गत 22 अगस्त को मदन महल थाना अंतर्गत सुदामा नगर में मुकेश उपाध्याय के घर हुई चोरी में पुलिस पड़ताल कर रही थी जब टीम द्वारा सीसीटीव्ही फुटेज खंगाले गये, फुटेज में चोरी करने वाला आरोपी महिला के कपडे पहने हुये था, जिस कारण किसी किन्नर या महिला पर संदेह हो रहा था, बारीकी से देखने पर एक सीसीटीव्ही फुटेज मे आटो से एक काले रंग के कपडे मे आता हुआ एवं घर मे घुसते हुये एक व्यक्ति दिखा , सीसीटीव्ही फुटेज खंगालते हुये आटो की पहचान की गई एवं आटो वाले की जानकारी प्राप्त की गयी तो पता चला कि एक आटो वाला आता जाता है एवं जुआ भी खेलता है। आटो वाले के चलने के तरीके से आटो वाले की पहचान की गयी एवं घटना स्थल पर मिली हथौडी की पहचान करायी गयी तो बताया गया कि इस प्रकार की हथौडी खेमसिंह मरावी रखता है। खेमसिंह मरावी की तलाश की गयी जो घर से गायब मिला। पतासाजी करते हुये संदेही आटो चालक खेम सिंह मरावी उर्फ संजय ठाकुर उम्र 34 वर्ष निवासी रैगवॉ शहपुरा डिण्डोरी हाल निवासी कैलाश आटा चक्की के पास मदनमहल को डिण्डेारी से पकडकर लाया गया एवं सघन पूछताछ की जिसने चोरी करना स्वींकार करते हुये बताया कि 3 वर्ष मुकेश उपाध्याय ने उसके साथ मारपीट की थी, जिसका बदला लेने के लिये उसने चोरी की थी। आरोपी की निशादेही पर चुराये हुये नगदी रूपयो में से नगद 2260 रूपये सहित 1 लाख 25 हजार रूपये कीमती सोने चांदी के जेवर एवं घटना में प्रयुक्त औजार जप्त करते हुये आरोपी को प्रकरण में विधिवत गिरफ्तार कर मान्नीय न्यायालय के समक्ष पेश करते हुये न्यायिक अभिरक्षा मे जेल भेज दिया गया है।
पतासाजी करते हुये नकबजनी के आरोपी को गिरफ्तार कर चुराये हुये जेवर जप्त करने में थाना प्रभारी मदनमहल श्री नीरज वर्मा के नेतृत्व में सहायक उप निरीक्षक के.पी. झारिया, प्रधान आरक्षक सतीष तिवारी, आरक्षक हेमराज, सतीष झारिया, सुभाष की सराहनीय भूमिका रही।
विभाग कर रहा लीपापोती, जबलपुर की तलाड़ और नांदघाट राशन सोसाइटी का मामला
7.5 लाख़ रूपये की कीमत का PDS राशन कालाबाजारी में चला गया ,जिम्मेदार महीनों से चुप्पी साधे
क्या नए भ्रष्टाचार को निमंत्रण दे रहे अधिकारी?
पहले भी सेल्समैन राधे यादव राशन घोटाले में जा चुका है जेल,और किसानों की धान गेहूं के साथ मूंग खरीदी में भी कर चुका है घोटाले फिर भी जांच कागजों में SDM सिहोरा के पास अटकी।
SDM सिहोरा आशीष पांडे भी बात करने से बचते नज़र आएं, मूंग खरीदी घोटाला और राशन घोटाला उन्हीं के कार्यकाल में हुआ फिर भी कारवाई और जांच का कोई अता पता नहीं…
Bhopal Desk
शिवराज मामा भेजते गरीबों को राशन लेकिन कौन खाता उनका हक़ ??
राजधानी भोपाल से सूबे के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान गरीबों के लिए नई नई योजना जनकल्याण के लिए बड़े बड़े दावे करते है, लेकिन ज़मीनी हक़ीक़त इससे उलट है क्योंकि भ्रष्टचार मध्यप्रदेश की नस नस में समाया हुआ इसकी एक बानगी हम आपको दिखा रहे है ताज़ा मामला जबलपुर ज़िले की मझौली तहसील का है यहां पर गरीबों को मिलने वाले राशन में भारी भ्रष्टचार हुआ है, ख़ास बात यह है कि राशन दुकान संचालक को पूर्व में हटाने का आदेश उपायुक्त कार्यालय से दिया गया था लेकिन अधिकारियों ने इस आदेश को ठेंगा दिखाते हुए किसी भी प्रकार की कोई कारवाई नहीं की । नतीज़ा यह है कि भ्रष्ट दुकानदार गरीबों के राशन पर डांका डालकर सरकारी राशन की कालाबाजारी कर चुका है लेकिन विभाग के आला अफसरों के पास शिकायत जानें पर भी भ्रष्ट सेल्समैन को बचाने के प्रयास में जुट गए है। जबकि शिवराज सरकार से पैसे इस बात के लेते है कि हम ऐसे घोटालेबाजों के खिलाफ़ कारवाई करेगें, यहां तो जांच ही भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने में लगी नज़र आती है।
जहां आज भी गरीब और असहाय लोगों के लिए सरकार की योजना मिलनी कितनी कठिन है इसका आंकलन आप इस खबर से लगा सकते है।
क्या है पूरा मामला?
दरअसल पूरा मामला जबलपुर ज़िले की मझौली तहसील में आने वाली शासकीय उचित मूल्य दुकान तलाड और नांदघाट का है, जहां गरीबों के साथ PDS राशन के घोटाले का मामला सामने आया है। मामले की जानकारी को मझौली तहसीलदार प्रदीप मिश्रा ने कलेक्टर को भी अवगत कराया है। स्थानीय प्रशासन एसडीएम से लेकर ज़िले के कलेक्टर तक और विभाग के आला अफसरों तक बात गई लेकिन सब के सब मौन धारण किए बैठे है ??
CM शिवराज के आदेश की धज्जियां उड़ा रहे अधिकारी शिवराज सरकार के सख्त आदेश है गरीबों के राशन PDS घोटाला में किसी को नहीं छोड़ना है सीधा जेल भेजना है वस्तु अधिनियम के तहत पुलिस को FIR दर्ज करने की भी खुली छूट CM शिवराज ने दे रखी है। फिर भी यह भ्रष्टचार पूरे सिस्टम की खुलेआम धज्जियां उड़ा रहा है।
कैसे हुआ PDS राशन घोटाला ?? 1) कोरोना काल में दो प्रकार का राशन आया केंद्र का फ़्री राशन,तो राज्य का 1रूपये प्रति किलो 2) गरीब जनता के अनपढ़ और जागरूकता न होने के कारण फ़्री वाला राशन तो कभी कभी दिया गया लेकिन राज्य की शिवराज सरकार के PDS राशन की कालाबजारी कर दी गई
3) गांव के प्रधान ने आम जनता की आवाज़ को उठाकर जब इसकी लिखित शिकायत प्रशासन को दी तब प्रशासन दिखावे मात्र के लिए हरकत में आया।
4) मौके पर खाद्य विभाग की JSO पल्लवी जैन और उनका अमला पहुंचा तो उन्हें स्टॉक कम मिला जिसका आंकलन उन्होंने किया तो करीब 7 लाख 34 हज़ार की राशि का शासन को चूना लगा दिया गया।
5) विभाग ने पाया कि ऑनलाइन स्टॉक से काफ़ी कम मात्रा में है गेहूं, चावल, शक्कर और नमक
6) इस घटना को बीते करीब चार माह से अधिक हो चुका है लेकिन शासन की तरफ़ से न तो कोई FIR दर्ज की गई,और जैसे तैसे मामले की लीपापोती में पूरा विभाग और प्रशासन लगा हुआ है।
7) शासकीय उचित मूल्य तलाड़ दुकान के भ्रष्ट सेल्समैन राधे यादव को प्रबंधक के प्रभार में बीते तीन साल हो गए है,और इनके अधीनस्थ आने वाले ,तलाड,रोंसरा,नांदघाट, हरदुआ बंधा ,मरहटी ,देवरी, और जुझारी उमरिया राशन दुकानों में भी भ्रष्टचार का सिलसिला जारी है, लेकिन देखने और सुनने वाला कोई नहीं है।
8) सेल्समैन राधे यादव का यह पहला मामला नहीं है इससे पहले वह गरीबों के राशन कालाबाजारी में लिप्त पाएं जाने के कारण जेल जा चुका है।
9)किसानों की मूंग खरीदी में घोटाला, किसानों की खरीदी सोसायटी में धान और गेंहू में कमीशनखोरी से लेकर कई मामले उजागर हो चुके है, फिर भी इतने बड़े पैमाने में किए गए भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने का काम प्रशासन क्यों कर रहा है???.. इस पर बड़ी कारवाई कब होगी??? यह अपने आप में बड़ा सवाल है??
10) भ्रष्ट सेल्समैन राधे यादव की नियुक्ति भी फर्जी है जिसका केस कार्यालय उपायुक्त सहकारिता जबलपुर में चल रहा है, जिसके पुख्ता सबूत भी मीडिया के हाथों लगे है।
राधेलाल यादव पिता श्री सूरज प्रसाद यादव को सेवा से पृथक करने बावत् सन्दर्भ:- कार्यालय द्वारा पूर्व प्रेषित पत्र क्र 611 दिनांक 14.03.14 व क्र/400 दिनांक 18.02.14 एवं क्र/2435 दि. 29.09.15 व क्र/2770 दि. 20.11.15 में आदेश आने के बावजूद आखिर किसकी शह में पूरी नियमों को ताक में रखकर भ्रष्ट सेल्समैन राधे यादव को विभाग में कार्यरत रहने की परमिशन कैसे मिल गई यह भी अपने आप में बड़ा सवाल है। मध्यप्रदेश में कोई कितना भी बड़ा भ्रष्टाचारी क्यों न हों उसको मिलकर सिस्टम में बैठे दूसरे भ्रष्टाचारी बचा रहे है।
सहकारिता के अधिकारी भी बचा रहे भ्रष्टाचारी को सबको देता है मोटी रकम
नाम न छापने की शर्त में सूत्रों ने बताया कि सहकारिता विभाग के ही कुछ आधिकारी कर्मचारी भ्रष्टाचारी राधे यादव को बचाने में लगे है इसमें सहकारिता सीईओ योगेश दुबे की भूमिका भी प्रमुख है, वे मानते है कि जब तक हम है तो ऐसे कई भ्रष्टचार हो भी जाएंगे तो भी कोई बाल बांका नहीं कर पाएगा, क्या कलेक्टर जबलपुर की नाक के नीचे इतना बड़ा खेल हो रहा है,और कलेक्टर इलैया राजा टी और प्रदेश के उच्च अधिकारी भी इस भ्रष्टाचार को बढ़ावा देंगे यह तो आगे की ठोस कार्रवाई से ही पता चलेगा ।
7.5 लाख रुपये कीमत का गरीबों का राशन डकार गए अधिकारी-कर्मचारी,कार्यवाही शून्य
जबलपुर जिला घोटालों का कब्रगाह बनता जा रहा है,यहां परिवहन विभाग का सहायक परिवहन अधिकारी अरबों का आसामी निकलता है तो वहीं अन्य विभाग भी इसमें पीछे नहीं है।जिले के मझौली जनपद के तलाड़ एवं नांदघाट सोसायटी अंतर्गत 7.5 लाख कीमत का गरीबों का राशन समिति प्रबंधक द्वारा हजम करने का मामला सामने आया है।ताज्जुब की बात है कि अब तक न तो सहकारिता विभाग और न ही जिला प्रशासन द्वारा इस प्रकरण में कोई कार्यवाही की गई है केवल कागजी खानापूर्ति कर मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया है।
एक दुकान में 4 माह तो दूसरी राशन दुकान में 6 माह का राशन डकार गया विक्रेता
जानकारी के अनुसार कोरोना महामारी के दौरान केंद्र सरकार ने गरीबों को चार माह का राशन निःशुल्क दिया गया वहीं राज्य सरकार ने भी गरीबों के लिए राशन उपलब्ध कराया।जनपद मझौली के तलाड और नांदघाट सोसायटी के सेल्समैन द्वारा केंद्र सरकार का मुफ्त राशन गरीबों को दिया गया लेकिन राज्य सरकार के राशन को बेंच दिया गया। तलाङ से सटी नांदघाट राशन दुकान में भी 6 माह के राशन में कालाबाजारी
स्थानीय जनप्रतिनिधियों की शिकायत पर जांच हुई तो तकरीबन 7.5 लाख की अनियमितता पाई गई।तहसीलदार मझौली ने जांच प्रतिवेदन जिला कलेक्टर को सौंपकर आगामी कार्यवाही करने का प्रस्ताव दिया।लेकिन इस पूरे प्रकरण में सहकारिता विभाग,खाद्य विभाग एवं जिला प्रशासन द्वारा अब तक कोई कार्यवाही नहीं की गई।
कालाबाजारी में 1 माह जेल काट चुका है सेल्समैन
सूत्रों ने बताया कि तलाड़ सोसायटी के सेल्समैन राधेलाल यादव पूर्व में कालाबाजारी के आरोप में 1 माह जेल में बिता चुका है बावजूद इसके विभाग इसे समिति प्रबंधक के पद पर बनाये रखा।समिति प्रबंधक के भ्रष्टाचार में बराबर का भागीदार विभाग बना रहा।
रद्दी की टोकरी में सेवा से पृथक किये जाने का आदेश
उपायुक्त सहकारिता विभाग द्वारा वर्ष 2016 में समिति प्रबंधक राधेलाल यादव को सेवा से पृथक किये जाने का आदेश दिया था,लेकिन उपायुक्त सहकारिता का यह आदेश रद्दी को टोकरी में फेंक दिया गया।उपायुक्त के आदेश के बाबजूद अब तक वह इसी पद पर रहते हुए लाखों का भ्रष्टाचार कर दिया,विभाग के कुछ अधिकारी भी समिति प्रबन्धक के इस भ्रष्टाचार में शामिल रहे होंगे।यही कारण है कि सेवा से पृथक करने के बजाय उसे कार्यवाही से बचाते रहे।
क्या कहते है जिम्मेदार.
सेवा से पृथक के आदेश 2014,15 और 16 में आए थे, जिनकी जानकारी मुझे अभी लगी है मैंने सहकारिता उपायुक्त महोदय को लिखा है, राधे यादव को सेवा से पृथक किया जाएगा
योगेश दुबे , सीईओ सहकारिता जबलपुर
यह मेरे विभाग का मामला नहीं है हम कोई भी कार्यवाही नहीं कर सकते हैं।
नुजहत बक़ाई जिला खाद्य अधिकारी
मामला मेरे संज्ञान में नहीं है जानकारी लेकर कार्यवाही की जाएगी।
पी के सिद्धार्थ उपायुक्त सहकारिता
यह 02 प्रकरण अलग दुकानों के है नांदघाट एवम तलाड से संबंधित है दोनो ही प्रकरण में जांच की जा चुकी है तलाड़ में रिकवरी के लिए नोटिस जारी किया गया है क्योंकि मौके पर जांच में वितरण होना पाया गया किंतु स्टॉक की जांच करने पर स्टॉक कम पाया गया जिसका प्रकरण पंजीबद्ध किया गया जिसका प्रकरण एसडीएम कोर्ट में प्रचलन मै है जिस विक्रेता के खिलाफ प्रकरण पंजीबद्ध किया गया है उसके द्वारा दुकान का संचालन नही किया जा रहा है। नांदघाट की जांच समिति प्रशासक सहकारिता विस्तार अधिकारी के द्वारा की गई जिसमे विक्रेता को पद से प्रथक कर दिया गया है जिसमे विक्रेता के द्वारा माननीय हाई कोर्ट से स्थगन आदेश प्राप्त कर लिया गया है अतः उक्त दोनों दुकानों की प्राप्त शिकायत अनुसार जांच की जा चुकी है दोनो ही केस में प्रकरण पंजीबद्ध है।
जबलपुर– महिला आरक्षक के साथ बलात्कार के आरोप में फरार चल रहे टीआई संदीप अचायी की अग्रिम जमानत याचिका हाईकोर्ट ने खारिज कर दी है। रेप मामले में फरार इनामी थाना प्रभारी संदीप अयाची की अग्रिम जमानत याचिका हाई कोर्ट में खारिज,आपत्तिकर्ता पीड़िता की ओर से अधिवक्ता आलोक तिवारी ने दलील दी कि आवेदक पर गंभीर आरोप हैं एवं वह एक प्रभावशाली व्यक्ति है यदि उसे जमानत मिलती है तो वह विवेचना पर प्रभाव डाल सकता है एवं पीड़िता को भी जान का खतरा है अतः अग्रिम जमानत निरस्त किए जाने योग्य है, तर्क से सहमत होकर हाईकोर्ट जस्टिस संजय द्विवेदी ने अपराध को गंभीर प्रवृत्ति का मानते हुए अग्रिम जमानत का लाभ देने से इंकार कर दिया। फरार टीआई की गिरफ्तारी पर पुलिस अधीक्षक ने इनाम घोषित कर रखा है। महिला आरक्षक ने कटनी में पदस्थ टीआई संदीप अयाची के खिलाफ 3 अगस्त 2022 को महिला थाना जबलपुर में बलात्कार की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी। रिपोर्ट में कहा है कि साल 2018 में जबलपुर के गोरखपुर थाने में पदस्थ थे। उसी थाने में संदीप अचायी टीआई के रूप में पदस्थ थे। इस दौरान दोनों में दोस्ताना बंधन बन गये थे। इसके बाद संदीप अचायी का स्थानांतरण जबलपुर के पनागर थाने हो गया था। उसकी भी डयूटी पनागर थाने में लगाई गयी थी। इस दौरान टीआई उसे एक होटल के कमरें में ले गये और शादी का झांसा देकर उसके साथ दुष्कृत्य किया।इसके बाद पचपढी,पेंच सहित अन्य स्थानो में ले जाकर शादी का झांसा देकर दैहिक षोषण किया। प्रयागराज ले जाकर उसके साथ औपचारिक रूप से विवाह भी किया था। अग्रिम जमानत याचिका में कहा गया था कि दोनों के बीच आपसी सहमत्ति से शारीरिक संबंध स्थापित हुए थे। शिकायतकर्ता बालिग थी और सहमत्ति से संबंध बनने के कारण बलात्कार का अपराध नहीं बनता है। अग्रिम जमानत याचिका का विरोध करते हुए शासन की ओर से कहा गया कि आरोपी टीआई की गिरफ्तारी पर पांच हजार रूपये का ईनाम घोषित है। पूर्व में भी आरोपी ने अपने औहदे की धमकी पीडिता को दी है। एकलपीठ ने सुनवाई के बाद अग्रिम जमानत आवेदन को खारिज कर दिया। पीड़िता पुलिसकर्मी की और से आपत्ति अधिवक्ता आलोक तिवारी ने पेश की एवं सरकार की तरफ से उप शासकीय अधिवक्ता आलोक अग्निहोत्री उपस्थित हुए।